आज मैं जो कहानी यहाँ लिखने जा रहा हूँ यह कहानी मुझे मेरे दादाजी ने कही थी। यह बात उस समय की है जब मुझे परदेश में नौकरी करने का मौका मिला था और हमारा सारा परिवार मुझे मिलने के लिए एकत्रित हुआ था। उस समय मैंने मेरे दादाजी से मेरी यह ख्वाइश बताई थी की बेहतर जिंदगी और अधिक धन प्राप्ति के लिए आगे जाकर परदेश में ही बसने की मेरी इच्छा है। उस समय दादाजीने मुझसे कहा की बेटा, मैं तुम्हे एक छोटीसी कहानी सुनाता हूँ उसके बाद तुम चाहे वो फैसला ले लेना।
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Together - A Great Place to be ! |
शाम को वहा से अपने घर आते वक्त अपने बच्चे से पूछा , " बेटा ! कैसा रहा आज का तुम्हारा दिन ?"
बेटे ने कहा, " बहुत बढ़िया पापा !"
उस धनी व्यक्ति ने आगे अपने बच्चे से पूछा, " क्या तुमने देखा की गरीब लोक कैसे रहते हैं ?"
बेटे ने कहा, " हाँ !"
धनी व्यक्ति ने आगे पूछा, " फिर मुझे बताओ की आज तुमने इस अनुभव से क्या सिखा ?"
बेटे ने कहा, " पिताजी, हमारे पास घर में सिर्फ एक कुत्ता है वही इन गरीब बच्चो के पास 4-5 कुत्ते है। हमारे घर में सिर्फ आप, मैं और माँ मिलाकर सिर्फ 3 लोग है, पर इन लोगो के घरो में 8-10 लोगो का बड़ा सुखी परिवार हैं। हमारे घर के सामने छोटीसी जगह है, पर इन लोगो के घर के सामने बड़ा खुला मैदान हैं। हम अपना अनाज खरीद कर लाते है पर ये लोग अपना अनाज खुद ही उगाते हैं। हमारे घर की सुरक्षा जहा सिर्फ 4 दीवारे करती है वही वे सब एक दुसरे के घर की सुरक्षा करते हैं। आज जहाँ हम एक दुसरे के पडोसी को भी नहीं पहचानते है वही यह गरीबो का पूरा महौल्ला एक परिवार के समान हैं। आज मुझे इस बात का एहसास हो रहा है की हम सच में कितने गरीब हैं !"
यह कहानी सुन मुझे एहसास हुआ की, सचमे अमीरी सिर्फ पैसो से नहीं आती हैं ! अगर आपके परिवार, आपके दोस्त आपसे दूर हैं और आपके सुख-दुःख बांटने के लिए अगर आपके पास कोई नहीं हैं, तो इससे ज्यादा गरीब और कोई नहीं हैं। सच्चा सुख, सबके साथ रहने और एक दुसरे का सहारा बनने में हैं। मैंने निश्चय किया की कुछ वर्षो के परदेश अनुभव के बाद मैं फिरसे अपने पुरे परिवार के साथ ही रहूँगा। मुझे ख़ुशी हैं की हम भारत जैसे देश में रहते हैं जहा हमें बचपन से ही एक दूसरे के साथ प्यार से रहने का संस्कार सिखाया जाता हैं। एक साथ रहना और एकता का महत्त्व तो हमें बचपन से ही लकड़ी की कहानी और जाल में फसे पंछियो की कहानी के रूप में समझाया गया हैं। परिवार को ख़ुशी-ख़ुशी साथ देखना हम में एक नया जोश और उमंग भर देता हैं ।
मैंने परदेश से आते ही अपने शहर में Housing.com पर से मनपसंद जगह पर एक नया और बड़ा घर ले लिया और अपने दादाजी के कहानी से प्रेरित होकर सबके साथ रहने का अपना सपना पूरा किया । आज हो सकता है मैं दो पैसे कम कमा रहा हूँ पर मुझे इस बाद की ख़ुशी हैं की मेरे पास मेरे दो अपने ज्यादा हैं। किसी ने सही कहा हैं -
Image courtesy : photostock at FreeDigitalPhotos.net
Our Family is circle of Strength & Love !
With every Birth & every Union the circle of Love grows,
Every crisis faced,
Together make the circle Stronger !!
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